महिलाओं की मिसाल : मंईयां सम्मान योजना की राशि से बनाया डेढ़ किलोमीटर सड़क

पलामू : झारखंड की मंईयां सम्मान योजना ने ग्रामीण महिलाओं को न केवल आर्थिक मजबूती दी है बल्कि आत्मनिर्भरता और सामुदायिक एकजुटता का नया उदाहरण भी प्रस्तुत किया है। पलामू जिले के छतरपुर प्रखंड के कंचनपुर पंचायत के लंगडीतर पिछुलिया टोला की महिलाओं ने इस योजना से प्राप्त राशि का उपयोग एक अनोखे कार्य में किया। उन्होंने अपनी राशि को आपसी सहयोग और चंदे के रूप में जमा कर करीब डेढ़ किलोमीटर लंबी सड़क का निर्माण कर दिया।

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गांव में लंबे समय से सड़क की समस्या थी। बरसात हो या गर्मी, ग्रामीणों को आवागमन में काफी परेशानी का सामना करना पड़ता था। बच्चों के स्कूल जाने, बीमारों को अस्पताल ले जाने और दैनिक कार्यों के लिए इस जर्जर रास्ते से गुजरना मुश्किल था। इसी समस्या का समाधान निकालने के लिए महिलाओं ने सामूहिक पहल की। उन्होंने मंईयां सम्मान योजना से मिले पैसे का हिस्सा इस काम में लगाने का निश्चय किया और श्रमदान के माध्यम से सड़क बना डाली।

 

गौरतलब है कि राज्य सरकार ने शनिवार को पलामू जिले की 3.50 लाख लाभुक महिलाओं के बैंक खातों में दो माह की अग्रिम राशि यानी पांच-पांच हजार रुपये हस्तांतरित किए। इस राशि का मूल उद्देश्य महिलाओं को आर्थिक सहारा देना है ताकि वे घरेलू जरूरतें पूरी करने के साथ आत्मनिर्भर बन सकें। लेकिन पिछुलिया टोला की महिलाओं ने इसे सामुदायिक विकास से जोड़कर एक नई राह दिखाई।

 

ग्रामीणों का कहना है कि यदि महिलाएं चाह लें तो वे किसी भी कठिनाई का समाधान निकाल सकती हैं। सड़क बनने से अब गांव में आवागमन आसान हो गया है। यह उदाहरण साबित करता है कि सरकारी योजनाओं का लाभ केवल व्यक्तिगत जरूरतों तक सीमित न रहकर सामूहिक हित में भी इस्तेमाल किया जा सकता है।

 

प्रशासनिक अधिकारियों ने भी इस पहल की सराहना की है। उनका कहना है कि यह घटना पूरे राज्य के लिए प्रेरणादायी है और अन्य गांवों में भी महिलाएं इससे सीख लेकर सामुदायिक विकास की दिशा में कदम बढ़ा सकती हैं।