सीपी राधाकृष्णन बने देश के 15वें उपराष्ट्रपति, विपक्षी वोटों में बिखराव से आसान हुई जीत

नई दिल्ली: भारतीय राजनीति में आज एक अहम बदलाव देखने को मिला। एनडीए उम्मीदवार सीपी राधाकृष्णन देश के 15वें उपराष्ट्रपति चुन लिए गए हैं। उन्होंने विपक्षी गठबंधन INDIA के प्रत्याशी सुदर्शन रेड्डी को पराजित किया। राधाकृष्णन को प्रथम वरीयता के कुल 452 वोट मिले, जबकि रेड्डी को 300 वोटों से संतोष करना पड़ा। इस तरह राधाकृष्णन ने 152 वोटों के अंतर से ऐतिहासिक जीत दर्ज की।

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कांग्रेस और अन्य सहयोगी दलों ने चुनाव से पहले दावा किया था कि INDIA गठबंधन के पास 315 सांसदों का समर्थन है। लेकिन वास्तविक परिणाम में प्रत्याशी सुदर्शन रेड्डी को केवल 300 वोट ही मिले। इससे यह साफ हो गया कि विपक्षी गठबंधन के भीतर मतों में सेंध लगी। विशेषज्ञों का मानना है कि यह परिणाम विपक्ष की एकजुटता पर प्रश्नचिह्न खड़ा करता है और सत्ता पक्ष की रणनीति को मजबूत करता है।

 

गौरतलब है कि बीआरएस और बीजेडी ने उपराष्ट्रपति चुनाव से दूरी बनाए रखी। राज्यसभा में बीआरएस के 4 और बीजेडी के 7 सांसद मौजूद हैं, जबकि इनका लोकसभा में भी उल्लेखनीय योगदान है। इनके वोट न डालने से विपक्षी उम्मीदवार की संभावनाएं और कमजोर हुईं। वहीं, लोकसभा में इकलौते सांसद वाले शिरोमणि अकाली दल ने पंजाब में बाढ़ की स्थिति का हवाला देते हुए मतदान में हिस्सा नहीं लिया।

 

इस चुनाव का महत्व इसलिए भी बढ़ जाता है क्योंकि मौजूदा उपराष्ट्रपति जगदीप धनखड़ ने 21 जुलाई को अचानक इस्तीफा दे दिया था। धनखड़ ने खराब स्वास्थ्य का हवाला देते हुए कार्यकाल समाप्त होने से पहले पद छोड़ दिया। उनका कार्यकाल 10 अगस्त 2027 तक तय था। धनखड़ के इस्तीफे के बाद नया उपराष्ट्रपति चुनने की प्रक्रिया तेज हुई और अब यह जिम्मेदारी सीपी राधाकृष्णन को सौंपी गई है।

 

सीपी राधाकृष्णन तमिलनाडु के वरिष्ठ भाजपा नेता रहे हैं और संगठन व संसद दोनों में सक्रिय भूमिका निभा चुके हैं। माना जा रहा है कि उनकी सादगीपूर्ण छवि और संगठनात्मक अनुभव ने उन्हें यह जिम्मेदारी दिलाई। अब उनसे अपेक्षा की जा रही है कि वे राज्यसभा के सुचारु संचालन में सक्रिय भूमिका निभाएंगे और सदन की कार्यवाही को संतुलित ढंग से आगे बढ़ाएंगे।

 

इस जीत के साथ एनडीए ने एक और संवैधानिक पद पर अपना परचम लहरा दिया है, जबकि विपक्षी INDIA गठबंधन को एक बार फिर अपने आंतरिक मतभेदों पर मंथन करना पड़ेगा।